स्वर्ण पदक विजेता नीतीश कुमार की सफलता की प्रेरक यात्रा

पेरिस पैरालिंपिक 2024 में विजय

नीतीश कुमार ने पुरुष एकल एसएल3 बैडमिंटन स्पर्धा में इंग्लैंड के डेनियल बेथेल के खिलाफ कड़े मुकाबले में स्वर्ण पदक हासिल किया।

रोमांचक मैच प्रदर्शन

नितीश ने असाधारण कौशल का प्रदर्शन करते हुए पहला गेम आसानी से जीत लिया, दूसरे गेम में बेथेल से कड़ी वापसी की और अंततः रोमांचक अंतिम गेम में जीत हासिल की।

पेरिस पैरालिंपिक में दूसरा भारतीय स्वर्ण

उनकी जीत ने 2024 पेरिस पैरालिंपिक में भारत के लिए दूसरा स्वर्ण पदक चिह्नित किया, जो निशानेबाजी में अवनि लेखारा की उपलब्धि के बाद है।

व्यक्तिगत त्रासदी और दृढ़ संकल्प

वर्ष 2009 में एक रेल दुर्घटना में नितेश का बायां पैर काटना पड़ा, यह एक जीवन बदल देने वाली घटना थी, जिसके कारण वे बिस्तर पर पड़े रहे, लेकिन इससे उनमें आगे बढ़ने का दृढ़ संकल्प और बढ़ गया।

आईआईटी में शैक्षणिक खोज

अपनी शारीरिक चुनौतियों के बावजूद, नितेश ने आईआईटी प्रवेश परीक्षा सफलतापूर्वक उत्तीर्ण की और 2013 में आईआईटी मंडी में प्रवेश लिया, जहां पहली बार बैडमिंटन के प्रति उनका जुनून विकसित हुआ।

न्यायालय से परे भूमिका

अपनी एथलेटिक उपलब्धियों के अलावा, नितेश हरियाणा के खेल और युवा मामले विभाग के लिए वरिष्ठ बैडमिंटन कोच के रूप में कार्य करते हैं और युवा एथलीटों को मार्गदर्शन प्रदान करते हैं।